असफल हुआ नासां, नहीं ख़ोज पाये 'विक्रम' लैंडर को

असफल हुआ नासां, नहीं ख़ोज पाये 'विक्रम' लैंडर को


अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा द्वारा लूनर रिकॉनिसेंस ऑर्बिटर कैमरे (एलआरओसी) से ली गई चंद्रमा की उस सतह की हाई रेजोल्यूशन तस्वीरें जारी की हैं, जहां विक्रम को लैंड करना था। नासा ने तस्वीर के आधार पर बताया है कि भारत के महत्वाकांक्षी चंद्रयान-दो मिशन के तहत विक्रम लैंडर की हार्ड लैंडिंग हुई थी। इसरो ने यहां विक्रम लैंडर की सॉफ्ट लैंडिंग की कोशिश की थी। प्रेट्र लैंडर तलाशने की अक्टूबर में फिर होगी कोशिश ।


वाशिंगटन, प्रेट्र : नासा ने शुक्रवार को भारत के चंद्रयान-2 के लैंडर विक्रम की लैंडिंग साइट की तस्वीरें जारी कीं। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने कहा कि चंद्रमा की सतह पर विक्रम की हार्ड लैंडिंग हुई थी। यानी विक्रम जोर से टकराया था। नासा हालांकि चांद पर विक्रम को खोज नहीं पाया। क्योंकि तस्वीरें अंधेरे में ली गई थीं। लैंडर को खोजने के लिए नासा अक्टूबर में फिर प्रयास करेगा।


नासा का लूनर रिकांसेंस आर्बिटर (एलआरओ) अंतरिक्षयान गत 17 सितंबर को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव के उस क्षेत्र से गुजरा था, जहां विक्रम को उतरना था। यहां से गुजरते समय इस यान पर लगे कैमरे ने हाई रिजोल्यूशन की तस्वीरें ली थीं। नासा ने विश्लेषण के बाद इन तस्वीरों को जारी किया है। नासा ने कहा, 'हमने भारत के चंद्रयान-2 के विक्रम लैंडर की लैंडिंग साइट की तस्वीरें खीचीं हैं। तस्वीरें जब ली गई थीं, तब अंधेरा था। यह संभव है कि लैंडर परछाई में छुप गया हो। इसलिए लैंडर की स्थिति का पता नहीं लगाया जा सका। इस लैंडर की चांद की सतह पर हार्ड लैंडिंग हुई थी।' अमेरिका स्थित गोडार्ड स्पेस फ्लाइट सेंटर में एलआरओ मिशन के वैज्ञानिक जॉन केलर ने कहा, 'लैंडर की लैंडिंग साइट के पास से एलआरओ अक्टूबर में फिर गुजरेगा। उस समय रोशनी होने की वजह से इसे खोजने में मदद मिल सकती है।'